श्री पिण्डोरी धाम में महंत रामदास महाराज जी की जयंती श्रद्धापूर्वक मनाई

गुरु ही शिष्य को अंधकार से प्रकाश की ओर ले जाता है व गुरु ही हमे ईश्वर से जोड़ता है : महंत रघुवीर दास

गढ़दीवाला 28 दिसंबर (चौधरी / योगेश गुप्ता) : श्री पिण्डोरी धाम के 13 वें द्वाराचार्य तपोमूर्ति वैष्णवाचार्य श्री महंत पूज्यपाद सद्गुरु महंत रामदास महाराज जी की जयंती श्री पिण्डोरी धाम में वर्तमान द्वाराचार्य श्री पीठादीश्वर श्री महंत रघुवीर दास जी महाराज जी के पावन सानिध्य में बड़ी ही धूमधाम व श्रद्धापूर्व मनाई गई।इस मौके सबसे पहले महाराज जी द्वारा पूजा अर्चना की गई।इस उपरांत महाराज जी ने अपने प्रवचन में श्री तपोमूर्ति वैष्णवाचार्य पूज्यपाद सद्गुरु श्री महंत रामदास महाराज जी के जीवन परिचय के बारे में बताया व कहा के महाराज जी का जन्म सम्वंत 1951ई. में गांव स्यालकोट में हुआ था ।

(पूजा अर्चना करते महंत रघुवीर दास जी महाराज)

उनके जन्म पर ही ज्योतिषियों ने यह अनुमान लगाया था के यह श्री वैकुंठ धाम बालक कोई विशेष वीमूर्ति है जो की मानव जाति कल्याणकारी व भगवतभक्ति के प्रचार के लिए प्रगट हुई है।उन्होंने कहा के यह बालक समय से ही दरबार श्री पिण्डोरी धाम में पधारे तो तत्तकालीन श्री स्वामी ब्रम्हदास महाराज जी ने उनकी मनोवृत्ति भगवतभक्ति में रुचि देखकर उन्हें दीक्षा देकर अपना शिष्य बना लिया था।

6 आषाढ़ संवत 1965 को द्वाराचार्य गुरुगद्दी पर असीम हुए । इस अवसर पर उन्होंने गुरु महिमा का गुणगान किया व लहै के गुरु ही शिष्य को अंधकार से प्रकाश की ओर ले जाता है व गुरु ही हमे ईश्वर से जोड़ता है । गुरु के बिना शिष्य अभागा है । इस मौके पर विशाल लंगर का भी अजोजन किया गया।इस मौके उन्होंने अपने शिष्य सेवादारों को इस पवित्र दिवस की बहुत बहुत शुभकामनाएं । इस मौके पर अनेक श्रद्धालु उपस्थित

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